खेल के प्रति उसकी प्रतिबद्धता इतनी मजबूत थी कि जब वह अवकाश पर ग्वालियर आती, तो अपने घर पर परिवार के साथ रहने के बजाय अकादमी में ही...
एक प्राध्यापक के रूप में डॉ. प्रगति अपने छात्रों को मात्र गणित के सूत्र सुलझाने में मदद नहीं करतीं बल्कि उनके भीतर छिपी प्रतिभा को...
गणित और विज्ञान उनका पसंदीदा विषय रहा लेकिन भाषा पर भी ज़बर्दस्त पकड़ रखती हैं, हिन्दी, अंग्रेज़ी और उर्दू-इन तीन भाषाओँ में वे अपना...
एक लेखिका का किसान और सफल उद्यमी बनने का तक सफ़र
उन्होंने ‘भूमिका थिएटर ग्रुप’ के बैनर तले कॉस्टिंग डायरेक्टर से लेकर निर्देशन, लेखन, प्रोडक्शन में भी हाथ आजमाया
पुरुष प्रधान समाज की रुढ़िवादी सोच ने उन्हें मंच पर गायन करने से कई बार रोका, लेकिन उन्होंने हर बार अपने लिए परिवार और समाज से लड...